तहसील चकिया जनपद चंदौली का मामला आया सामने
कागजी खानापूर्ति तक सिमटा समाधान दिवस, फरियादी निराश

संपूर्ण समाधान दिवस में बड़ी उम्मीद के साथ फरियादी पहुंचते हैं। उन्हें भरोसा होता है कि उक्त दिवस पर उनके मामले का निस्तारण बड़े अधिकारी कर देंगे, लेकिन ऐसा होता नहीं दिख रहा है। इस दिवस को मामलों से संबंधित आवेदन भले ही सभी से लिए जाते हैं, लेकिन उन आवेदनों को संबंधित विभाग को सुपूर्द कर अधिकारी अपनी जिम्मेदारियों से पीछ़े हट जाते हैं। इसके बाद फिर अगला समाधान दिवस आता है, फरियादी दोबारा उसी उम्मीद के साथ पहुंचते हैं और उन्हें बार-बार इसी प्रक्रिया से होकर गुजरना पड़ता है। अंत में वे थक-हार कर नेताओं के पास दौड़ने लगते हैं, वहां से भी जब न्याय नहीं मिलता तो वे निराश होकर अपनी हार मान घर बैठ जाते हैं और सरकार को कोसते हैं।
चकिया तहसील विभिन्न क्षेत्रों के संपूर्ण समाधान दिवस की एक पड़ताल की गई। इस दरम्यान दर्जनों फरियादियों ने बताया कि वे तहसील का चक्कर लगा कर थक चुके हैं, लेकिन उनकी समस्याओं के प्रति विभागीय अधिकारी गंभीर नहीं होते। गोल-मटोल जवाब के साथ मामले का निस्तारण भी फर्जी तरीके से कर देते हैं