सेढ़वा के समीप बिरहा नदी से बालू खनन को ले ग्रामीणों में आक्रोश, खनन कराया बंद

बेतिया मैनाटांड़ संवाददाता अक्षय कुमार आनंद की रिपोर्ट
मैनाटाड़: भंगहा थाना क्षेत्र अंतर्गत सेढ़वा गांव के समीप बिरहा नदी से बालू के खनन को लेकर ग्रामीणों में आक्रोश व्याप्त है। रविवार को ग्रामीणों को पता चला कि बिरहा नदी से बालू का खनन किया जा रहा है।
तो दर्जनाधिक ग्रामीण बिरहा नदी के समीप पहुंचकर आक्रोश व्यक्त करते हुये बालू खनन को बंद करा दिया ।
आक्रोशित ग्रामवासी धनीलाल कुमार कुशवाहा, रितेश यादव, रंजन साह,धनंजय यादव ,रामप्रवेश महतो श्याम बिहारी महतो, अरविंद कुमार नितीश कुमार ,श्याम बाबू कुमार आदि ने बताया कि दो साल पहले सेढ़वा घाट से उत्तर की तरफ बिरहा नदी में बालू खनन के कारण ही बिरहा नदी हमलोगों के गांव के एकदम करीब पहुंच गया है।
जिसके चलते दो सालों में कई बार बाढ़ से परेशानी झेलना पड़ा है ।बहुत सारे उपजाऊ खेत की मिट्टी को नदी के द्वारा काटकर उसे रेत में तब्दील कर दिया गया है।
आज फिर वही खनन करने के काम शुरू किया जा रहा है ।हम लोग खनन नहीं होने देंगे ,क्योंकि खनन से सेढ़वा गांव के अस्तित्व पर संकट खड़ा हो सकता है।
अगर खनन होता तो सेढ़वा गांव की तरफ ही बिरहा नदी की धार मुड़ जायेगी।जिससे कि गांव का अस्तित्व ही खत्म हो जायेगा ।
इधर जिला खनन पदाधिकारी घनश्याम झा ने बताया कि चिन्हित जगह का बालू खनन के जिला से सर्वे हुआ है। उसके बाद अनुमंडलीय कमिटि के द्वारा चिह्नित जगह पर खनन के पटना भेजा गया।
जिला के एनआईसी पर भी वर्ष 2021-22 में ही चिन्हित जगह पर बालू खनन से संबंधित अपलोड किया गया था।जिस पर किसी ने आपत्ति भी दर्ज नहीं कराया।
ऐसे में उस जगह पर सरकार के द्वारा खनन के लिए बंदोबस्त कर दिया गया।ऐसे में वहां से खनन होना वैध है।वहीं से खनन होगा।