रोहतास: एक स्कूल के आवासीय व्यवस्था की जांच में धर्मांतरण का मामला आया सामने, समिति ने कार्रवाई के लिए गृह सचिव व डीएम को लिखा पत्र

रोहतास: एक स्कूल के आवासीय व्यवस्था की जांच में धर्मांतरण का मामला आया सामने, समिति ने कार्रवाई के लिए गृह सचिव व डीएम को लिखा पत्र
रोहतास संवाददाता रोहित कुमार की रिपोर्ट
रोहतास जिले के इंद्रपुरी स्थित जेम्स इंग्लिश स्कूल इन दिनों गंभीर आरोपों के कारण सुर्खियों में है। कहा जा रहा है कि शिक्षा की आड़ में यहां गरीब बच्चों को एक धर्म विशेष की मान्यताओं को अपनाने के लिए मजबूर किया जाता था।
मामले की गंभीरता को देखते हुए जिला बाल कल्याण समिति ने केंद्रीय गृह सचिव, डीएम सहित कई अधिकारियों को पत्र लिखकर स्कूल प्रबंधन के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है।
बताया जाता है कि जिला बाल कल्याण समिति ने हाल ही में इंद्रपुरी के जेम्स इंग्लिश स्कूल का दौरा किया था, तब यह खुलासा हुआ है।
जांच रिपोर्ट में कहा गया है कि बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारी सह थानाध्यक्ष इन्द्रपुरी के लिखित अनुरोध पर बाल कल्याण समिति रोहतास ने जेम्स इंगलिश स्कूल सिकरिया स्थित आवासीय व्यवस्था की जांच का निर्णय लिया।
प्रधान प्रोबेशन पदाधिकारी प्रशांत सिंह विष्ट के साथ आठ सितंबर को समिति के अध्यक्ष संतोष कुमार, सदस्य ददन पांडेय व गायत्री कुमारी ने इंद्रपुरी थानाध्यक्ष माधुरी कुमारी के साथ स्कूल परिसर स्थित जेम्स टेलरिंग इंस्टीट्यूट की जांच शुरू की।
बताया गया कि 27 अगस्त को गयाजी की एक किशोरी लापता है। किशोरी की मां ने इसकी प्राथमिकी इंद्रपुरी थाने में 30 अगस्त को दर्ज कराई थी। इस मामले में पुलिस ने बच्ची को बरामद करके बयान करवाकर परिजनों को सुपुर्द कर दिया है।
रिपोर्ट के अनुसार, जब बाल कल्याण समिति की टीम जेम्स इंस्टीट्यूट पहुंची तो इंस्टीट्यूट की प्रभारी सुभद्रा 7-8 बच्चियों को सिलाई सिखा रही थीं। जांच के दौरान बच्चियों की नामांकन और दैनिक उपस्थिति पंजी नहीं मिली। बताया गया कि यह इकाई 2003 से चल रही है।
यहां नामांकन किस आधार पर होता है, इसका संतोषप्रद उत्तर नहीं दिया गया। एक पन्ने पर 15 बच्चियों के नाम अंकित थे, बस वही एक प्रमाण था। संस्थान चलाने की अनुमति है या नहीं, किसी प्राधिकार द्वारा जांच की जाती है या नहीं, इस बारे में जानकारी नहीं दी गई।
संस्थान के संचालक के बारे में बताया गया कि वह बाहर हैं। इस दौरान कमरे के बाहर एक लड़की की जोर-जोर से रोने की आवाज आई, जिसे दो लोग पकड़ कर ले जा रहे थे। पूछने पर एक कर्मी ने बताया कि उसके पेट में दर्द हो रहा है।
फिर बताया कि वह ऐसे ही करती रहती है। इंद्रपुरी थानाध्यक्ष व समिति सदस्य गायत्री कुमारी ऊपर गईं। लड़की को चुप कराकर नीचे आ गईं। इसके बाद लड़की को पीटा जाने लगा। तब उसे रेस्क्यू कर गंभीर अवस्था में इलाज के लिए भेजा गया।
लेकिन, चिकित्सक ने इलाज करने से मना कर दिया। इसके बाद उसे समिति में लाया गया। महिला परामर्शी से बात करने पर वह बताई कि चार लोगों ने उसके साथ दुष्कर्म किया था। कहा गया कि मेडिकल जांच के बाद बालिका को बालिका गृह कैमूर भेजा गया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि नौ सितंबर को पुनः समिति सदस्य गायत्री कुमारी की देखरेख में जिला बाल संरक्षण इकाई, चाइल्ड हेल्पलाइन और थानाध्यक्ष इंद्रपुरी ने वहां से सात बच्चियों मुक्त कराया, जिन्हें बालिका गृह में भेजा गया है। टीम द्वारा दी गई रिपोर्ट में कई बच्चियों का बयान अंकित है।
जिसमें नामांकन आवेदन फॉर्म में भरे गए कॉलम का जिक्र है। जिसके आधार पर समिति ने पाया कि यहां धर्मांतरण का खेल चल रहा है। समिति ने डीएम से एक बड़ी जांच समिति बनाकर जांच कराने की सिफारिश की है।




















