जमुई, पकरी: समाज कल्याण, समाज उत्थान के लिए SSB लगातार कर रहा है प्रयास
कमांडेंट मनीष कुमार ने ठाना है लोगों को आत्मनिर्भर बनाना है
जमुई जिला ब्यूरो बिरेंद्र कुमार की रिपोर्ट
आज खैरा पकरी कि 16 वीं वाहिनी सशस्त्र सीमा बल (SSB) द्वारा वाहिनी के कमांडेंट , मनीष कुमार के मार्गदर्शन एवं कुशल नेतृत्व से वाहिनी मुख्यालय पकरी में आज दिनांक 31.05.2024 को पुनः कृषि विज्ञान केंद्र जमुई से समन्वय कर ग्रामीणों के लिए मोटे अनाज के बीज उत्पादन पर एक वर्कशॉप का आयोजन किया गया।
जिसमें कृषि विज्ञान केंद्र जमुई के कृषि विशेषज्ञ डॉक्टर प्रमोद कुमार सिंह द्वारा ग्रामीणों को मोटे अनाज जैसे मडुआ, बाजरा तथा मक्का आदि के बीज उत्पादन का तरीका, बीज को लगाने का सही समय, दवाई तथा सिंचाई आदि के बारे में वताया |
बता दें की भारत सरकार द्वारा भी समय-समय पर देश वासीयों को जागरूक किया जा रहा है कि मोटे अनाज स्वास्थ्य के लिए बहुत ही लाभदायक हैं और इन्हें ज्यादा से ज्यादा प्रयोग में लाया जाए।
इसी क्रम में आज SSB के कर्मठ कमांडेंट मनीष कुमार एंड टीम के द्वारा ग्रामीणों के लिए इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग जागरूक हो सके |
इस कार्यक्रम में दर्जनों किसानों ने भाग लेकर कृषि सम्बन्धी जरूरी जानकारी प्राप्त की कृषि विशेषज्ञ डॉक्टर प्रमोद कुमार सिंह ने ग्रामीणों को बीज उत्पादन कर आजीवका कमाने के लिए भी प्रेरित किया और कहा कि किसानों को अपनी खेती के लिए खुद बीज उत्पादन करना चाहिए।
साथ ही बीज के रख-रखाव तथा इसकी खेती के उचित समय और जैविक खाद तैयार करने के बारे में जरूरी जानकारी दी |
इस कार्यक्रम में 16 वीं वाहिनी के उप कमांडेंट बिनोद कुमार दास द्वारा भी किसानों को बताया गया की मोटे अनाज स्वास्थ्य के लिए बहुत ही उपयोगी हैं और आने वाले समय में बाजार में इसकी मांग बढ़ने की संभावना है। इसलिए किसान इसकी खेती करके अधिक धन कमा सकते |
इस कार्यक्रम में SSB के अन्य अधिकारी, जैसे,प्रणव दैमारी उप-कमांडेंट, इंस्पेक्टर राजीव नयन कुमार, तथा कई जवान भी उपस्थित थे |
ग्रामीणों द्वारा कृषि विज्ञान केंद्र जमुई तथा SSB का ऐसे ज्ञानवर्धक कार्यक्रम के आयोजन करने के लिए धन्यवाद दिया और कहा कि इस तरह का वर्कशॉप उनके लिए फायदेमंद हो सकता है।
दर्शकों जैसा कि आप सभी को बखूबी पता है कि SSB अपने लक्ष्य को हासिल करते हुए, अब आम आदमी, ग्रामीणों, किसानों, यहां तक की ग्रामीण बच्चे, बच्चियों का बौद्धिक विकास, सांस्कृतिक उत्थान, सामाजिक एक रस्ता, लोगों से घुलने मिलने, आचार व्यवहार, के लिए भी सतत प्रयास कर रहा है।
और समय समय पर कई आदिवासी समाज के बच्चे बच्चियों को बाहर, अन्य राज्यों में भी भेज कर वहां की संस्कृति, वहां के आचार व्यवहार, सीखने हेतू, कमांडेंट मनीष कुमार भेजते रहतेंं हैं।
और हां दर्शको आप सभी को हमने कई बार यह बताने की कोशिश कि है की SSB के अधिकारियों ने कई बच्चे, बच्चियों को ITI भी करवा कर उन्हें आत्मनिर्भर बना रहें हैं।
SSB के एक एक अधिकारी, एक एक जवानों की मानो एक ही मंशा है की ग्रामीण क्षेत्र के किसान, बच्चे, बच्चियां, देश की तरक्की में सहभागी हों?